भिलाई स्टील प्लांट में बायोमेट्रिक अटेंडेंस लागू ना करने को लेकर वहां के यूनियन की लड़ाई में अब पूरी तरह से विराम लगता दिख रहा है। इस पर लगी याचिका पर सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट ने बायोमेट्रिक पर रोक लगाने से कोर्ट ने इन्कार कर दिया है।
इतना ही नहीं यूनियन के नेताओं को एक और बड़ा झटका तब लगा जब इस मामले में केंद्रीय उप श्रमायुक्त ने भी रोक लगाने से मना कर दिया है। इससे यह साफ हो गया है कि बायोमेट्रिक पर रोक किसी कीमत पर नहीं लगने जा रही है। भले ही यह फसला बीएसपी प्रबंधन के पक्ष में आया है, लेकिन उसने कहा कि कि इससे संबंधित यूनियन नेताओं को होने वाली परेशानियों पर बातचीत वो करने को तैयार हैं।
छत्तीसगढ़ उच्च न्यायालय बिलासपुर के न्यायाधीश दीपक कुमार तिवारी ने बायोमेट्रिक अटेंडेंस सिस्टम को रोकने की याचिका पर सुनावाई की। भिलाई स्पात मजदूर संघ के महामंत्री चन्ना केशवलू ने इसको लेकर हाईकोर्ट में याचिका लगाई थी। उन्होंने इसमें सचिव, श्रम एवं रोजगार मंत्रालय, नई दिल्ली, उप श्रम आयुक्त (केंद्रीय) कार्यालय क्षेत्रीय श्रम आयुक्त, अवंती विहार, रायपुर, और Bhilai Steel Plant के Director-In-Charge को पार्टी बनाया था।