छत्तीसगढ़ के नक्सल प्रभावित कोंडागांव में आईटीबीपी की 41वीं वाहिनी ने एक अनूठी पहल की है। वर्ष 2016 से आदिवासी और नक्सल पीड़ित परिवारों के बच्चों को जूडो का प्रशिक्षण दिया जा रहा है, जिसने उनके जीवन को नई दिशा दी है। इस प्रशिक्षण का परिणाम बेहद सराहनीय रहा है। पिछले 10 सालों में इन युवा खिलाड़ियों ने राष्ट्रीय, जोनल और राज्य स्तर की प्रतियोगिताओं में कुल 328 मेडल जीते हैं। इन प्रतिभाशाली खिलाड़ियों की उपलब्धियों को राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री, मुख्यमंत्री और राज्यपाल द्वारा सम्मानित किया गया है।
इस पहल की एक उल्लेखनीय सफलता बड़ेकनेरा की हेमवंती नाग है, जो वर्तमान में बाल कल्याण परिषद कोंडागांव में रह रही है। 26 दिसंबर 2024 को राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने उन्हें प्रधानमंत्री राष्ट्रीय बाल पुरस्कार से सम्मानित किया, जो पूरे कोंडागांव के लिए गौरव का क्षण है।
41वीं वाहिनी के जूडो प्रशिक्षकों के अथक प्रयासों की सराहना राष्ट्रीय और राज्य स्तर पर की गई है। वाहिनी के अधिकारी नियमित रूप से इन खिलाड़ियों का उत्साहवर्धन करते हैं और उनके उज्जवल भविष्य के लिए प्रेरित करते हैं। यह पहल न केवल खेल के क्षेत्र में सफलता का उदाहरण है, बल्कि नक्सल प्रभावित क्षेत्र में सामाजिक बदलाव का भी एक प्रभावी माध्यम बन गई है।