पोल्ट्री फार्मिंग बिज़नेस लोन: छोटे निवेश में बड़ा फायदा पाने का मौका

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भारत में पोल्ट्री फार्मिंग (मुर्गी पालन) एक ऐसा व्यवसाय है जिसमें कम समय में अच्छा मुनाफा कमाया जा सकता है। अंडा, मांस और अन्य पोल्ट्री प्रोडक्ट्स की लगातार बढ़ती मांग के कारण यह बिज़नेस हर साल तेजी से बढ़ रहा है। लेकिन इस कारोबार को शुरू करने या बड़ा करने के लिए पूंजी की जरूरत पड़ती है। ऐसे में पोल्ट्री फार्मिंग बिज़नेस लोन आपके लिए एक शानदार विकल्प बन सकता है।

पोल्ट्री बिज़नेस लोन के तहत बैंक और वित्तीय संस्थान किसानों और व्यवसायियों को मुर्गी पालन शेड, चारा, दवा, उपकरण और पक्षियों की खरीद जैसी जरूरी चीजों के लिए फाइनेंस मुहैया कराते हैं। केंद्र और राज्य सरकारें भी मुद्रा योजना, डेयरी और पोल्ट्री योजना, पशुपालन इन्फ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट फंड (AHIDF) और नेशनल लाइवस्टॉक मिशन जैसी योजनाओं के जरिए 25% से 33% तक की सब्सिडी प्रदान कर रही हैं, जिससे पोल्ट्री बिज़नेस को बढ़ावा मिले।

अगर आप छोटे स्तर पर पोल्ट्री फार्मिंग करना चाहते हैं, तो मुद्रा योजना के तहत 50,000 रुपये से 10 लाख रुपये तक का लोन लिया जा सकता है। वहीं, बड़े स्तर पर काम करने वालों को बैंक 5 लाख से 25 लाख रुपये तक का टर्म लोन भी देते हैं। इसके लिए आधार कार्ड, पैन कार्ड, एड्रेस प्रूफ, जमीन या लीज के कागजात, बैंक स्टेटमेंट और एक व्यवस्थित व्यवसाय योजना (बिज़नेस प्लान) जरूरी होती है।

बैंक आमतौर पर 7% से 12% तक ब्याज दर पर यह लोन उपलब्ध कराते हैं, जो 5 से 7 साल में आसान किस्तों में चुकाया जा सकता है। साथ ही, महिला उद्यमियों और SC/ST श्रेणी के लोगों को सब्सिडी में अतिरिक्त लाभ भी दिया जाता है।

इसलिए अगर आप कम निवेश में अपनी कमाई बढ़ाने का मौका तलाश रहे हैं, तो पोल्ट्री फार्मिंग बिज़नेस लोन का विकल्प जरूर सोचें। इससे आप अपने पोल्ट्री शेड का विस्तार कर सकते हैं और अच्छी आमदनी हासिल कर सकते हैं।

डिस्क्लेमर: यह लेख केवल सामान्य जानकारी के उद्देश्य से लिखा गया है। लोन लेने या व्यवसाय शुरू करने से पहले किसी प्रमाणित बैंक अधिकारी या कृषि विशेषज्ञ से सलाह जरूर लें। लोन की शर्तें, ब्याज दर और सब्सिडी की सुविधाएं बैंक व क्षेत्र के अनुसार बदल सकती हैं।

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