सीजीएमएससी का कमाल: इस बार मरीजों की सर्जरी के लिए भेज दिया जंग लगा सर्जिकल ब्लेड

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रायपुर। कमीशनखोरी के बड़े आरोपों से घिरे सीजीएमएससी द्वारा की जाने दवा और उपकरणों की सप्लाई मरीजों के लिए जानलेवा साबित हो सकती है। इस बार महासमुंद मेडिकल कॉलेज के हास्पिटल में जंग लगी सर्जिकल ब्लेड की सप्लाई कर दी गई। सर्जरी के लिए खोले गए पैकेट से जंग लगी ब्लेड एवं घटिया ग्लब्स निकलने पर स्टाफ ने प्रबंधन और उनकी ओर से दवा निगम सीजीएमएससी के जिम्मेदारों से यह शिकायत की है।

सीजीएमएससी द्वारा सरकारी अस्पतालों को भेजे जाने वाले सामान के अमानक और घटिया निकलने की शिकायत लगातार सामने आ रही है। सबसे पहले प्रेग्नेंसी डायग्नोस्टिक किट, फिर ग्लूकोज की ड्रिप चढ़ाने वाली किट और फिर मिर्गी के झटके रोकने के लिए उपयोग की जाने वाली दवा के अमानक होने की बात सामने आई थी। इस बार मरीजों की सर्जरी के लिए उपयोग में आने वाले सर्जिकल ब्लेड में ही जंग लगने की शिकायत मिली है। महासमुंद अस्पताल के चिकित्सा अधिकारी डॉ. बसंत माहेश्वरी ने बताया कि ओटी इंचार्ज द्वारा यह शिकायत की गई थी कि उपयोग में लाए जाने वाले ब्लेड में जंग लगी है और उसकी पैकिंग भी ठीक ढंग से नहीं हुई है। इसके उपयोग से मरीजों को सेप्टिक होने का खतरा है, इसलिए इसका उपयोग नहीं किया जा सकता। प्रबंधन ने इस शिकायत पर गंभीरता दिखाई ।

ग्लूकोज में मिल चुकी शिकायत
इसके पूर्व आंबेडकर अस्पताल में मरीजों को चढ़ाए जाने वाले ग्लूकोज से साइड इफेक्ट आने की शिकायत भी हुई थी। मरीजों के बाद संबंधित विभाग ने अस्पताल प्रबंधन को इस बारे में चेताया था और ग्लूकोज को रिप्लेस कराया गया था। लगातार मिलने वाली शिकायत के बाद दवा कार्पोरेशन से अनुबंधित कंपनियों की सप्लाई और उनकी क्वालिटी पर भी सवालिया निशान लग रहे हैं।

बदला गया एक अधिकारी
दवा निगम में कार्यरत उपमहाप्रबंधक स्तर के अधिकारी को कुछ समय पहले उनके मूल विभाग में वापस भेज दिया गया है। अफसर पर कुछ विशेष कंपनियों को बढ़ावा देने का आरोप लग रहा था। दवा निगम इसके पूर्व ही 660 करोड़ के बड़े घोटाले से घिरा हुआ है। इस मामले में आधा दर्जन अधिकारियों को गिरफ्तार किया जा चुका है और ईओडब्लू की जांच जारी है।

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