बदरुद्दीन ने कहा, ‘मैंने दुनिया भर में मुस्लिम समुदाय में शिक्षा की कमी देखी है। मैंने दुख व्यक्त किया है कि हमारे बच्चे पढ़ते नहीं हैं, उच्च शिक्षा के लिए नहीं जाते और मैट्रिक भी पूरी नहीं करते।’
ऑल इंडिया यूनाइटेड डेमोक्रेटिक फ्रंट (एआईयूडीएफ) के प्रमुख बदरुद्दीन अजमल ने यह कहकर विवाद खड़ा कर दिया कि मुसलमानों में अपराध दर अधिक है। अजमल ने हाल ही में कहा, ”हम मुसलमान डकैती, बलात्कार, लूट जैसे सभी अपराधों में नंबर 1 हैं। जेल जाने में भी हम नंबर 1 हैं।” उनके इस बयान की खूब आलोचना हो रहा है, लेकिन वह अपने रुख पर कायम हैं। शुक्रवार को उन्होंने दोहराया कि उन्होंने कुछ भी गलत नहीं कहा है। उन्होंने कहा कि अपराध में शामिल होने की उच्च प्रवृत्ति सीधे तौर पर शिक्षा की कमी पर निर्भर करती है। आपको बता दें कि इत्र कारोबारी बदरुद्दीन अजमल के नेतृत्व वाली एआईयूडीएफ असम में बंगाली भाषी मुसलमानों के बीच पकड़ रखती है। असम विधानसभा में उनकी पार्टी के 15 विधायक हैं।
बदरुद्दीन अजमल ने अपराध को लेकर क्या कहा?
उन्होंने कहा, ”मैंने दुनिया भर में मुस्लिम समुदाय में शिक्षा की कमी देखी है। मैंने दुख व्यक्त किया है कि हमारे बच्चे पढ़ते नहीं हैं, उच्च शिक्षा के लिए नहीं जाते हैं और मैट्रिक तक भी पूरी नहीं कर पाते हैं। युवाओं को शिक्षा की आवश्यकता समझाने के लिए मैंने ऐसा कहा है।” उन्होंने कहा कि लड़कों और पुरुषों को लड़कियों को देखते या उनके साथ बातचीत करते समय दुर्भावनापूर्ण इरादे नहीं रखने चाहिए। उन्होंने कहा, “जो लड़के कहते हैं कि वे महिलाओं को देखकर यौन उत्तेजित हो जाते हैं, मैं उन्हें बताना चाहता हूं कि इस्लाम कहता है कि व्यवहार करने का एक उचित तरीका है। जब हम बाजार या किसी सार्वजनिक स्थान पर जाते हैं और महिलाओं को देखते हैं तो हमें दूसरी ओर देखना चाहिए। उन्हें याद रखना चाहिए कि उनके परिवार में भी महिलाएं हैं। अगर वे अपनी मां और बहनों के बारे में सोचेंगे तो उनके मन में कभी भी अनुचित विचार नहीं आएंगे।”
‘मुस्लिम समुदाय के विकास की कमी का यह बड़ा कारण’
मुस्लिम नेता ने कहा कि कम साक्षरता दर मुस्लिम समुदाय के विकास की कमी का एक बड़ा कारण है। उन्होंने कहा कि अक्सर दोष सरकार पर मढ़ दिया जाता है। बदरुद्दीन अजमल ने कहा, “साक्षरता को लेकर बड़ी समस्या है। वे पढ़े-लिखे नहीं हैं। शिक्षा के मामले में हम सिर्फ सरकार को दोष देते हैं, लेकिन अगर वे हमारे अल्पसंख्यक इलाके से डॉक्टर और इंजीनियर मांगते हैं तो यह बहुत दुर्भाग्यपूर्ण है कि हम उन्हें नहीं दे सकते हैं। हमें इसे बढ़ाना चाहिए।” अजमल ने कहा, “हमारे युवाओं को शिक्षा के लिए प्रोत्साहित करने के अलावा और कोई रास्ता नहीं है। शिक्षा की कमी के कारण ही सभी बुराइयां व्याप्त हैं।”
20 अक्टूबर को असम के गोलपारा जिले में पूर्व छात्रों की एक बैठक को संबोधित करते हुए बदरुद्दीन अजमल ने मुस्लिम समुदाय में शिक्षा के क्षेत्र की कमियों के बारे में चिंता व्यक्त की। उन्होंने इसे मुसलमानों के बीच बढ़ती अपराध दर से जोड़ा। एआईयूडीएफ प्रमुख ने कहा, “लूट, डकैती, बलात्कार जैसे अपराध में हम नंबर 1 हैं। हम जेल जाने में भी नंबर 1 हैं। हमारे बच्चों को स्कूल और कॉलेज जाने के लिए समय नहीं मिलता है, लेकिन जुआ खेलने के लिए पर्याप्त समय मिलता है।” उन्होंने आगे कहा, “लोग चंद्रमा और सूर्य पर जा रहे हैं। हम जेल जाने के तरीके पर पीएचडी कर रहे हैं। एक पुलिस स्टेशन में चलें और आपको पता चल जाएगा कि किसी संख्या अधिक है। क्या यह दुखद बात नहीं है?”