मैं संसार में बहुत भाग्यवान हूं इस संकल्प को जीवन में समाहित कर ले….

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-हमें दूसरों के जीवन में मुस्कुराहट की वजह बनना है….

भिलाई : प्रजापिता ब्रह्मकुमारी ईश्वरीय विश्व विद्यालय द्वारा सेक्टर 7 स्थित पीस ऑडिटोरियम में चल रहे मौन तपस्या कार्यक्रम “व्यक्त से अव्यक्त” की ओर के दूसरे दिन संस्था के अंतर्राष्ट्रीय मुख्यालय माउंट आबू से आए पीस ऑफ़ माइंड चैनल के सुप्रसिद्ध शो “समाधान” के ओजस्वी वक्ता तपस्वीमूर्त राजयोगी ब्रह्माकुमार सूरज भाई जी ने कहा कि जो हर बात में बहुत ज्यादा सोचता है (ओवरथिंकिंग) वह सुखी नहीं रह सकता है।

बातें बड़ी नहीं होती उन्हें बार बार सोच कर हम बड़ा बना देते हैं । स्वराज्य अधिकारी बन मन, बुद्धि, संस्कार और कर्मेंद्रियों को मलिक बन चलाना है।

बिना अर्थों के संकल्पों से भय वा चिंता को पाल लेते हैं जिससे बचने का उपाय आपने बताया कि सुबह उठते साथ संकल्प करे कि मैं संसार में बहुत भाग्यवान हूं इस संकल्प को जीवन में समाहित कर ले।
तथा रात को सोते समय मैं बहुत सुखी हूं , इसे हमारा अवचेतन अंतर्मन में स्वीकार कर लेगा तथा जीवन में कार्य करने लगेगा।

आपने क्रोध के बारे में बताया की क्रोध के बाद कैसा भी व्यक्ति हो पछताते अवश्य है।

हमारे एक सेकंड का क्रोध हमारे उज्जवल भविष्य को नष्ट कर सकता है जिसका उपाय बताते हुए आपने कहा कि नो रिएक्शन, धैर्यवत रहे, धैर्य से क्रोध को जीते।

वरिष्ठ राजयोग शिक्षिका ब्रह्माकुमारी गीता दीदी ने कहा कि खुश रहने से हमारे ब्रेन में हैप्पी हार्मोन क्रिएट होता है।

आत्मिक शक्ति को बचाने के लिए परचिंतन का परहेज करें। हमें दूसरों के जीवन में मुस्कुराहट की वजह बनना है। आपने स्लोगन दिया मुस्कुराना शुकराना जीवन में किसी का दिल ना दुखाना।

प्रकृति सहित विश्व में सभी का शुक्रिया करें क्योंकि प्रकृति युगों से हमारी पालना कर रही है। दिल से आभार भगवान का शुक्रिया करें। इस दो दिवसीय मौन तपस्या कार्यक्रम में मनेंद्रगढ़, पाटन, उतई, जामगांव, बेमेतरा, दिल्ली राजहरा, डौंडीलोहारा, नंदिनी अहिवारा सहित भिलाई के सभी सेवा केंद्रों के ब्रह्मा वत्सो ने लाभ लिया।

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