रायपुर : छत्तीसगढ़ को मिला एक और राष्ट्रीय पुरस्कार….

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छत्तीसगढ़ को गैर कोयला मुख्य खनिज ब्लॉकों की नीलामी के लिए द्वितीय बेस्ट परफॉर्मेंस अवार्ड
भोपाल में आयोजित राज्य खनन मंत्री सम्मेलन में केन्द्रीय कोयला एवं खान मंत्री ने दिया अवार्ड
मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय ने खनिज विभाग के अधिकारियों को दी बधाई और शुभकामनाएं

रायपुर : छत्तीसगढ़ राज्य को गैर कोयला मुख्य खनिज ब्लॉकों की नीलामी के लिए एक और राष्ट्रीय पुरस्कार मिला है। केन्द्रीय कोयला एवं खान मंत्री श्री प्रहलाद जोशी ने आज मध्यप्रदेश की राजधानी भोपाल में आयोजित राज्य खनन मंत्री सम्मेलन में गैर कोयला मुख्य खनिज ब्लॉकों की सफलतापूर्वक नीलामी के लिए छत्तीसगढ़ को देशभर में द्वितीय बेस्ट परफॉर्मेंस अवार्ड से नवाजा है। यह पुरस्कार भारत सरकार के खनन मंत्रालय द्वारा दिया गया है।

मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय ने इस उपलब्धि के लिए खनिज विभाग के सभी अधिकारियों को बधाई और शुभकामनाएं दी हैं।मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव के मुख्य आतिथ्य में भोपाल में आयोजित राज्य स्तरीय खनन मंत्री सम्मेलन में केन्द्रीय मंत्री श्री प्रहलाद जोशी से छत्तीसगढ़ राज्य की ओर से श्री अनुराग दीवान, संयुक्त संचालक (खनिज प्रशासन) एवं इंचार्ज ऑक्शन तथा श्री संजय कनकने संयुक्त संचालक (भौमिकी) द्वारा अवार्ड प्राप्त किया गया।गौरतलब है कि प्रदेश में वर्ष 2015 उपरांत राज्य में ई-ऑक्शन के माध्यम से कुल 35 आबंटित गैर कोयला मुख्य खनिज ब्लॉकों में से 20 खनिज ब्लॉकों का आबंटन वर्ष 2022-23 में किया गया है। इनमें 02 चूनापत्थर, 09 लौह अयस्क, 05 बाक्साइट ब्लॉक्स एवं 02 निकल-क्रोमियम-प्लेटिनम-ग्रुप ऑफ एलीमेंट एवं 02 ग्रेफाइट खनिज सहित कुल 20 ब्लॉक्स का ई-ऑक्शन के माध्यम से खनिज पट्टा-कांपोजिट लायसेंस आबंटन किया गया। प्रदेश में बहुमूल्य एवं सामरिक महत्व के खनिजों के अन्वेषण एवं दोहन सुनिश्चित कराने के उद्देश्य से सितंबर, 2022 में राष्ट्रीय स्तर का स्टेकहोल्डर्स कॉन्फ्रेंस कराया गया था।खनिज अधिकारियों ने बताया कि छत्तीसगढ़ राज्य निकल-क्रोमियम-प्लेटिनम-ग्रुप ऑफ एलीमेंट खनिज ब्लॉक का आंबटन करने वाला देश का पहला राज्य है। इसी प्रकार राज्य में प्रथम बार लौह अयस्क, बॉक्साइड एवं ग्रेफाईट ब्लॉक्स का आबंटन भी सफलतापूर्वक किया गया है। उन्होंने बताया कि 20 खनिज ब्लॉकों के सफल आबंटन से रायल्टी, डीएमएफ, एनएमईटी, पर्यावरण एवं अधोसंरचना उपकर के अतिरिक्त लगभग 43,700 करोड़ रूपए की आय बतौर प्रीमियम राज्य को होगी।  

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