रिजर्व बैंक के पूर्व गवर्नर रघुराम राजन ने कहा कि देश को चीन और वियतनाम सहित अन्य देशों के साथ प्रतिस्पर्धा करने के लिए अपने कार्यबल को ट्रेंड करने की जरूरत है। चिप निर्माण में भी भारत पीछे है।
चिप बनाने के मामले में चीन के पास जबरदस्त इनोवेशन है और भारत अब भी बहुत पीछे है। ये बात भारतीय रिजर्व बैंक के पूर्व गवर्नर रघुराम राजन ने कही है। इसके साथ ही रघुराम राजन ने भारत की इकोनॉमी के स्थिर ग्रोथ पर भी चिंता जाहिर की है। उन्होंने कहा कि दुनिया के सबसे अधिक आबादी वाले देश यानी भारत में पर्याप्त नौकरियां जनरेट करने के लिए 8% से अधिक की रफ्तार से ग्रोथ करने की जरूरत है। बता दें कि रघुराम राजन वीडियो लिंक के जरिए बीजिंग के एक कार्यक्रम में जुड़े थे। इसी दौरान उन्होंने देश की इकोनॉमी समेत कई मुद्दों पर अपनी राय रखी।
रोजगार नहीं दे पा रहा देश: रघुराम राजन ने कहा-जनसंख्या की जरूरतों और नौकरियों की आवश्यकता को देखते हुए भारत की ग्रोथ स्पीड 8%-8.5% पर रहनी चाहिए। मुझे लगता है कि ग्रोथ की रफ्तार कुछ धीमी है क्योंकि हमारे पास बहुत सारे युवा हैं जिन्हें रोजगार की जरूरत है। रघुराम राजन के मुताबिक देश हर साल वर्कफोर्स में शामिल होने वाले लाखों लोगों के लिए पर्याप्त नौकरियां जनरेट नहीं कर पा रहा है।
उन्होंने रिसर्च सेंटर फॉर मॉनिटरिंग इंडियन इकोनॉमी के आंकड़ों का भी हवाला दिया है। इस आंकड़े के मुताबिक अक्टूबर में कुल बेरोजगारी दर बढ़कर 10.05% हो गई, जो दो साल में सबसे अधिक है। इसके अलावा एचएसबीसी का अनुमान है कि देश को अगले 10 वर्षों में 7 करोड़ नई नौकरियां जनरेट करने की जरूरत होगी।
वर्कफोर्स को करना होगा ट्रेंड: रिजर्व बैंक के पूर्व गवर्नर ने कहा कि देश को चीन और वियतनाम सहित अन्य देशों के साथ प्रतिस्पर्धा करने के लिए अपने वर्कफोर्स को ट्रेंड करने की जरूरत है। उन्होंने आईफोन पार्ट्स के प्रोडक्शन का हवाला देते हुए कहा कि भारत इस दिशा में आगे बढ़ रहा है लेकिन अब भी पूरी तरह से सक्रिय होने के लिए लंबी दूरी तय करनी होगी। बता दें कि भारत में पहली बार टाटा समूह ने आईफोन के मैन्युफैक्चरिंग में सक्रियता दिखाई है। वहीं, वेदांता समेत कई देश-विदेश की कंपनियां चिप मैन्युफैक्चरिंग में संभावनाएं तलाश रही हैं।