हमास चीफ के घर फाइटर जेट से हमला; इजराइल के खान यूनिस इलाके को खाली करने का मिला सन्देश…!

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इजराइली सेना उत्तरी गाजा के बाद अब दक्षिणी गाजा भी खाली कराने जा रही है। टाइम्स ऑफ इजराइल की रिपोर्ट के मुताबिक इजराइल की डिफेंस फोर्सेस ने दक्षिणी गाजा के खान युनिस में अरेबिक भाषा में लिखे पर्चे गिराए हैं। उत्तरी गाजा में जमीनी घुसपैठ से पहले इजराइल ने वहां भी पर्चे गिरवाकर लोगों से इलाका खाली करने की अपील की थी। खान युनिस में गिराए पर्चों पर लिखा है कि जो भी हमास के नेताओं या उनके कमांड सेंटर के आस-पास मौजूद है वो अपनी जान जोखिम में डाल रहा है।

वहीं, अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन ने कहा है कि जंग के बाद फिलिस्तीन देश का अस्तित्व बना रहना चाहिए। दरअसल, नेतन्याहू का कहना है कि जंग के बाद गाजा पर उनकी सेना का कब्जा होगा। दक्षिणी गाजा खाली करने के इजराइली सेना के फरमान के बाद इस इलाके पर कंट्रोल की चिंता और बढ़ गई है।

इधर, इजराइल-हमास जंग के 41वें दिन इजराइल डिफेंस फोर्स (IDF) ने हमास चीफ इस्माइल हानिये के घर पर फाइटर जेट से हमला किया। सेना ने दावा किया है कि हमास इस घर में अपने लड़ाकों के साथ मीटिंग करता था।

तस्वीर खान यूनिस में गिराए गए इजराइली सेना के पर्चे की है। इसमें अरबी भाषा में इलाका खाली करने को कहा गया है।

अल-शिफा अस्पताल में इजराइली सेना के टैंक
गाजा के अल-शिफा अस्पताल में IDF ग्राउंड ऑपरेशन कर रही है। इजराइल के कई टैंक भी अस्पताल कैंपस में मौजूद हैं। इजराइली सेना ने दावा किया है कि उन्हें अस्पताल में हमास के हथियार, खुफिया सामान और कई मिलिट्री इक्विपमेंट्स मिले हैं।

इसके अलावा उन्होंने यहां हमास का हेडक्वार्टर, इंटेलिजेंस सेट-अप और यूनिफॉर्म्स भी मिलने की बात कही है। सेना ने बताया कि हमास ने कई हथियार और ग्रेनेड MRI मशीनों के पास छिपा रखे थे। हमास के ऑपरेशन पर जानकारी के लिए IDF ने अस्पताल में मौजूद लोगों से भी बातचीत की।

अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडेन ने बुधवार को कहा- हमास के खिलाफ ये जंग तब ही खत्म होगी जब वो फिर से इजराइल पर हमला करने के काबिल नहीं बचेगा। अल-शिफा अस्पताल में रेड इजराइल के लिए बड़ा रिस्क है, लेकिन ये बात भी सही है कि हमास अस्पताल से ऑपरेट करता है। वहां उसका हेडक्वार्टर, हथियारों का जखीरा और जंग से जुड़ा दूसरा सामान मौजूद है।

तुर्किये बोला- इजराइल आतंकी देश, हमास आजादी की लड़ाई लड़ रहा
इससे पहले बुधवार को तुर्किये के राष्ट्रपति रेसेप तैयप एर्दोगन ने इजराइल को आतंकी देश बताया है। अंकारा में पार्टी मेंबर्स से बातचीत करते हुए एर्दोगन ने कहा- इसमें कोई दो राय नहीं है कि इजराइल एक आतंकी देश है और हमास आजादी की जंग लड़ रहा है।

एर्दोगन ने कहा- हमारी सरकार पूरी कोशिश कर रही है कि गाजा में तबाही के लिए जिम्मेदार इजराइल के तमाम नेताओं को कानून के कटघरे में लाया जाए। उन पर इंटरनेशनल कोर्ट में केस चले। इसमें उनके मिलिट्री लीडर्स भी शामिल रहेंगे।

एर्दोगन ने आगे कहा- इजराइल का इस वक्त एक ही एजेंडा है। वो गाजा शहर और वहां के लोगों को खत्म कर देना चाहता है। हमास कोई आतंकी संगठन नहीं है। वो तो इजराइल को रोकने वाले फाइटर्स का ऑर्गेनाइजेशन है।

पूर्व इजराइली PM बोले- पहले अपना रिकॉर्ड चेक करें एर्दोगन
इजराइल के पूर्व प्रधानमंत्री और अब विपक्ष के नेता येर लैपिड ने एर्दोगन के आरोप का जवाब दिया। लैपिड ने सोशल मीडिया पर एक पोस्ट किया और एर्दोगन के मानवाधिकार रिकॉर्ड पर तंज कसा। इजराइली नेता ने कहा- हम एक ऐसे आदमी से नैतिकता के बारे में सबक नहीं सीखना चाहते, जिसने मानवाधिकारों का उल्लंघन किया है।

एर्दोगन को सबसे पहले अपना रिकॉर्ड चेक कर लेना चाहिए। इजराइल जो कुछ कर रहा है, वो अपनी हिफाजत के लिए कर रहा है। वो हमास के आतंकियों के खिलाफ कार्रवाई कर रहा है। इन आतंकियों को एर्दोगन अपने घर में पनाह देते हैं।

नेतन्याहू बोले- हत्यारे हमास नेताओं को इजराइली सेना खोज निकालेगी
इजराइल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने बुधवार को एक गाजा के करीब इजराइली सेना के एक मिलिट्री ट्रेनिंग सेंटर का दौरा किया। सैनिकों से बातचीत में इजराइली PM ने कहा- हमास के हत्यारे नेताओं को ये समझ लेना चाहिए कि गाजा में ऐसी कोई जगह नहीं है, जहां हमारे सैनिक न पहुंच सकते हों।

नेतन्याहू ने आगे कहा- हमास कहता था कि इजराइली सेना गाजा में घुस तक नहीं सकती। हमने ये कर दिखाया। वो कहते थे कि अल-शिफा हॉस्पिटल नहीं पहुंच सकते। हम वहां भी पहुंच गए। अब हमास को छिपने के लिए कोई जगह नहीं मिलेगी। हमारे दो लक्ष्य हैं। पहला- हमास को खत्म करना। दूसरा- अपने बंधकों को वापस लाना।

इजराइली संसद में हमास के हमलों के वीडियो दिखाए
इजराइली संसद में बुधवार को हमास के हमलों का एक और वीडियो दिखाया गया। 7 अक्टूबर को हुए इन हमलों में 1200 लोग मारे गए थे। हमास आतंकियों ने 240 लोगों को बंधक भी बना लिया था और ये अब भी उसके कब्जे में हैं।

इजराइली संसद में दो हफ्ते पहले भी 7 अक्टूबर के हमलों के वीडियो दिखाए गए थे। कुछ वीडियो को सेंसर किया गया था। इसकी वजह से कुछ लोग इस पर सवाल उठा रहे थे। बुधवार को जो वीडियो दिखाया गया, वो ओरिजनल फुटेज थे। इजराइल के अरब मूल के लोगों की पार्टी ने संसद में दूसरी बार स्क्रीनिंग की अपील की थी। स्पीकर ने इसे मान लिया था।

हमास सीजफायर के लिए तैयार
न्यूज एजेंसी ‘रॉयटर्स’ ने कतर के अफसरों के हवाले से दावा किया है कि हमास सीजफायर के लिए राजी है। इसके लिए वो 50 बंधक भी रिहा करने के लिए तैयार हो गया है, लेकिन बदले में चाहता है कि इजराइली सेना 3 दिन हमले न करे।

इस रिपोर्ट में दावा किया गया है कि हमास ने ये भी कहा है कि वो इजराइल को भी कुछ फिलिस्तीनी महिलाओं और बच्चों को रिहा करना होगा। इजराइल की तरफ से कोई जवाब नहीं दिया गया है।

‘अल-अक्सा फ्लड’ के खिलाफ इजराइल का ऑपरेशन ‘सोर्ड्स ऑफ आयरन’
हमास ने इजराइल के खिलाफ अपने ऑपरेशन को ‘अल-अक्सा फ्लड’ नाम दिया है। इसके जवाब में इजराइल की सेना ने हमास के खिलाफ ‘सोर्ड्स ऑफ आयरन’ ऑपरेशन शुरू किया। हमास के सैन्य कमांडर मोहम्मद दीफ ने कहा था- ये हमला यरुशलम में अल-अक्सा मस्जिद को इजराइल की तरफ से अपवित्र करने का बदला है। दरअसल, इजराइली पुलिस ने अप्रैल 2023 में अल-अक्सा मस्जिद में ग्रेनेड फेंके थे।

वहीं, हमास के प्रवक्ता गाजी हामद ने अल जजीरा से कहा था- ये कार्रवाई उन अरब देशों को हमारा जवाब है, जो इजराइल के साथ करीबी बढ़ा रहे हैं। हाल ही के दिनों में मीडिया रिपोर्ट्स में दावा किया गया था कि अमेरिका की पहल पर सऊदी अरब इजराइल को देश के तौर पर मान्यता दे सकता है।

इजराइल और फिलिस्तीन के बीच क्यों है विवाद?
मिडिल ईस्ट के इस इलाके में यह संघर्ष कम से कम 100 साल से चला आ रहा है। यहां वेस्ट बैंक, गाजा पट्टी और गोलन हाइट्स जैसे इलाकों पर विवाद है। फिलिस्तीन इन इलाकों समेत पूर्वी यरुशलम पर दावा जताता है। वहीं, इजराइल यरुशलम से अपना दावा छोड़ने को राजी नहीं है।

गाजा पट्टी इजराइल और मिस्र के बीच में है। यहां फिलहाल हमास का कब्जा है। ये इजराइल विरोधी समूह है। सितंबर 2005 में इजराइल ने गाजा पट्टी से अपनी सेना वापस बुला ली थी। 2007 में इजराइल ने इस इलाके पर कई प्रतिबंध लगा दिए। फिलिस्तीन का कहना है कि वेस्ट बैंक और गाजा पट्टी में स्वतंत्र फिलिस्तीन राष्ट्र की स्थापना हो।

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