महादेव सट्टा ऐप का पैनल चलवाने और इससे जुड़े लेनदेन के मामले में आरोपी छत्तीसगढ़ पुलिस के सिपाही सहदेव यादव को सेवा से बर्खास्त कर दिया गया है। दुर्ग एसपी जितेंद्र शुक्ला ने बर्खास्तगी का आदेश जारी किया है। सहदेव को कुछ दिन पहले राजनांदगांव जिले के सोमनी से गिरफ्तार किया गया था और वो इस समय जेल में है। दुर्ग एसपी जितेंद्र शुक्ला ने जो बर्खास्तगी आदेश जारी किया है उसमें सहदेव यादव के ड्यूटी में अनुपस्थित रहने का जिक्र है। इसके लिए उसे दो बार पहले भी दंडित किया जा चुका है। इसके बाद उसे जेवरा सिरसा चौकी में पदस्थ किया गया था, लेकिन वहां भी बिना किसी अनुमति और पूर्व सूचना के वो 127 दिन ड्यूटी से अनुपस्थित रहा है। इसके लिए उसका एक वेतनमान वृद्धि भी रोका गया है।
थाना कुम्हारी में पदस्थापना के दौरान भी 6 जुलाई 2022 से 9 नवंबर 2022 तक वो ड्यूटी से अनुपस्थित रहा। इसके साथ ही उसने अपने एसबीआई अकाउंट से बिना किसी अधिकारी की स्वीकृति के बड़ी राशि का लेनदेन किया है। जो पुलिस रेग्युलेशन और एमपी/सीजी सिविल सेवा आचरण नियम के खिलाफ है। इसलिए विभागीय जांच के बाद उसकी सेवा समाप्त करते हुए उसे बर्खास्त किया गया है।
ईडी की कार्रवाई की जानकारी होते ही हुआ फरार
एसपी के आदेश में स्पष्ट रूप से लिखा गया है कि स्मृति नगर चौकी में तैनाती के दौरान 3 दिसंबर 2023 को उसकी ड्यूटी मतगणना के रिहर्सल में लगाई गई थी। महत्वपूर्व ड्यूटी होने के बाद भी वो वहां नहीं पहुंचा। प्रवर्तन निदेशालय, वित्त मंत्रालय भारत सरकार के रायपुर जोनल कार्यालय से उसकी जांच शुरू की गई और समन भी भेजा गया, लेकिन उसकी तामीली नहीं हुई।
सहदेव यादव को इसकी जानकारी हो गई थी कि ईडी उसके ऊपर कार्रवाई करने वाली है, इसीलिए समन से पहले ही वो फरार हो गया था।
एसीबी की गिरफ्त में है सहदेव
वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक राज्य आर्थिक अपराध अन्वेषण ब्यूरो एवं एंटी करप्शन ब्यूरो छग रायपुर ने 11 जुलाई 2024 को एसपी को पत्र लिखकर कर बताया है कि उन लोगों ने सहदेव यादव को धारा 406, 420, 467, 468, 471, 120बी, 34 के साथ ही भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम 2018 की विवेचना में आरोपी पाया है और इसके लिए उसे गिरफ्तार किया गया है।
सहदेव यादव का था दुबई कनेक्शन
EOW की गिरफ्त में आया सहदेव यादव आरक्षक भीम सिंह यादव और अर्जुन यादव का भाई है। सहदेव और उसके भाइयों का कनेक्शन महादेव ऐप संचालित करने वाले लोगों के साथ था। सहदेव सट्टा चलाने वाले और दुबई में बैठे सन्नी सतनाम से लगातार बात करता भी करता था।
सहदेव कई महीने तक बिना किसी जानकारी के गायब भी था। इस दौरान उसका लोकेशन मध्यप्रदेश और महाराष्ट्र में पाया गया। वहीं ऑनलाइन सट्टा ऐप का पैनल भी चला रहा था।