केंद्रीय मंत्रिमंडल ने मैनफैक्चरिंग को बढ़ावा देने के लिए 12 नए औद्योगिक स्मार्ट शहरों को मंजूरी दी

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नई दिल्ली: केंद्रीय मंत्री अश्विनी वैष्णव ने आज बताया कि केंद्रीय मंत्रिमंडल ने घरेलू मैनफैक्चरिंग को प्रोत्साहित करने के लिए 28,602 करोड़ रुपये के बजट के साथ विभिन्न राज्यों में 12 नए औद्योगिक स्मार्ट शहरों की स्थापना को मंजूरी दे दी है इनमें से दो औद्योगिक शहर आंध्र प्रदेश और एक बिहार में बनेंगे. ये औद्योगिक क्षेत्र उत्तराखंड के खुरपिया, पंजाब के राजपुरा-पटियाला, महाराष्ट्र के दिघी, केरल के पलक्कड़, यूपी के आगरा और प्रयागराज, बिहार के गया, तेलंगाना के जहीराबाद, आंध्र प्रदेश के ओरवाकल और कोप्पर्थी और राजस्थान के जोधपुर-पाली में स्थित बनेंगे. इस योजना के तहत सरकार ने पिछले बजट में राज्यों और निजी क्षेत्र के सहयोग से 100 शहरों में ‘प्लग एंड प्ले’ औद्योगिक पार्कों के विकास की योजना की घोषणा की थी. इन औद्योगिक स्मार्ट शहरों का विकास भारत के स्वर्णिम चतुर्भुज नेटवर्क पर आधारित होगा और यह देश के औद्योगिक परिदृश्य को बदलने का उद्देश्य रखता है.

28,602 करोड़ रुपये का बजट

इन 12 परियोजनाओं के लिए 28,602 करोड़ रुपये का बजट निर्धारित किया गया है. यह परियोजना 10 लाख प्रत्यक्ष और 30 लाख अप्रत्यक्ष रोजगार के अवसर पैदा करने की उम्मीद है. कुल मिलाकर, इस योजना के तहत 1.5 लाख करोड़ रुपये के निवेश की संभावना है. इन शहरों को प्रधानमंत्री गतिशक्ति प्रोजेक्ट पर आधारित ‘प्लग-एन-प्ले’ और ‘वॉक-टू-वर्क’ अवधारणाओं के अनुसार विकसित किया जाएगा. निवेश को बढ़ावा देने और क्षेत्रीय विकास को संतुलित करने के लिए मजबूत और टिकाऊ बुनियादी ढांचा तैयार किया जाएगा. इसमें तैयार भूमि के साथ वैश्विक मूल्य श्रृंखलाओं में भारत की भूमिका को भी मजबूत किया जाएगा. 
उद्योग एवं आंतरिक व्यापार संवर्धन विभाग (डीपीआईआईटी) के सचिव राजेश कुमार सिंह ने बताया कि पहले से ही आठ औद्योगिक स्मार्ट शहर विभिन्न विकासात्मक चरणों में हैं. इनमें से चार शहर – धोलेरा (गुजरात), ऑरिक (महाराष्ट्र), विक्रम उद्योगपुरी (मध्य प्रदेश), और कृष्णपट्टनम (आंध्र प्रदेश) में ट्रंक इंफ्रास्ट्रक्चर तैयार हो चुका है और उद्योग के लिए भूमि आवंटन का काम चल रहा है. अन्य चार शहरों में सरकार की विशेष प्रयोजन इकाई सड़क संपर्क, पानी और बिजली आपूर्ति जैसे बुनियादी ढांचे का निर्माण कर रही है. इस नई घोषणा के साथ, देश में कुल 20 औद्योगिक स्मार्ट शहर होंगे. इस कदम से भारत के सकल घरेलू उत्पाद (GDP) में विनिर्माण की हिस्सेदारी बढ़ेगी और रोजगार सृजन में महत्वपूर्ण योगदान मिलेगा.

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