छत्तीसगढ़ के बीजापुर जिले के धनोरा स्थित माता रुक्मणि आश्रम में पनीर की सब्जी और पूड़ी खाने से तीसरी कक्षा की छात्रा शालिनी तेलम की मौत हो गई, जबकि 35 अन्य बच्चे बीमार हो गए। इन बच्चों को बीजापुर के मातृ एवं शिशु अस्पताल में इलाज दिया जा रहा है, जिनमें से 12 की हालत गंभीर है और उन्हें ICU में भर्ती किया गया है। इस घटना के बाद कांग्रेस और प्रशासन दोनों ने जांच कमेटियां गठित की हैं।
पिछले दो दिन पहले, आश्रम में पनीर की सब्जी और पूड़ी खाने के बाद बच्चों की तबीयत बिगड़ी, और उनमें उल्टी-दस्त की शिकायत आई। सभी बच्चों को जिला अस्पताल में भर्ती किया गया, जिसमें से एक बच्ची की मौत हो गई।
फूड पॉइजनिंग के मामले ने सियासत को भी गरमा दिया है। कांग्रेस ने इसे भाजपा सरकार की खराब स्वास्थ्य व्यवस्था और लापरवाही का परिणाम बताया है, जबकि परिजनों ने आश्रम के खाने की गुणवत्ता की जांच न होने पर सवाल उठाए हैं। आश्रम में पनीर कहां से आया था, इसकी जांच भी की जा रही है।
इस मामले के बाद, कांग्रेस ने एक 7 सदस्यीय जांच टीम का गठन किया, जिसमें क्षेत्रीय विधायक विक्रम मंडावी को संयोजक बनाया गया है। प्रशासन ने भी अपनी 5 सदस्यीय जांच टीम बनाई है, जिसमें SDM जागेश्वर कौशल की अध्यक्षता में विभिन्न अधिकारी शामिल हैं। ये टीमें मामले की जांच करके अपनी रिपोर्ट संबंधित अधिकारियों को सौंपेंगी।