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ईडी की छापेमारी: पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के भिलाई स्थित निवास पर प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की टीम ने छापा मारा।
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सुबह-सुबह कार्रवाई: सोमवार तड़के ईडी की टीम चार गाड़ियों में बघेल के घर पहुंची और दस्तावेजों की जांच की।
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कांग्रेस का विरोध: बड़ी संख्या में कांग्रेस कार्यकर्ता मौके पर पहुंचे और सरकार के खिलाफ नारेबाजी की।
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अन्य स्थानों पर छापे: ईडी ने छत्तीसगढ़ में कुल 15 ठिकानों पर छापेमारी की, जिसमें पूर्व मुख्यमंत्री के बेटे चैतन्य बघेल का निवास भी शामिल है।
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मनी लॉन्ड्रिंग जांच: यह छापेमारी छत्तीसगढ़ में हुए कथित शराब घोटाले और मनी लॉन्ड्रिंग से जुड़ी जांच का हिस्सा है।
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राजनीतिक विवाद: कांग्रेस ने इसे भाजपा की “राजनीतिक साजिश” बताया, वहीं भाजपा ने भ्रष्टाचार के खिलाफ कार्रवाई करार दिया।
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टी एस सिंह देव की मौजूदगी: छापे की खबर सुनकर पूर्व उपमुख्यमंत्री टी एस सिंह देव भी भिलाई पहुंचे और इसे गलत कार्रवाई बताया।
ईडी की बड़ी कार्रवाई: भूपेश बघेल के घर और अन्य 15 जगहों पर छापे
छत्तीसगढ़ में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने बड़ी कार्रवाई करते हुए कांग्रेस नेता और पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के भिलाई स्थित निवास पर छापा मारा। यह छापा कथित शराब घोटाले और मनी लॉन्ड्रिंग से जुड़े मामले में हुआ। छापेमारी की खबर मिलते ही कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने मौके पर पहुंचकर विरोध प्रदर्शन शुरू कर दिया।
कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने किया हंगामा
ईडी की कार्रवाई की जानकारी मिलते ही भूपेश बघेल के समर्थक और कांग्रेस कार्यकर्ता बड़ी संख्या में उनके निवास के बाहर जमा हो गए। उन्होंने भाजपा सरकार पर केंद्रीय एजेंसियों के दुरुपयोग का आरोप लगाते हुए धरना प्रदर्शन किया। इस दौरान सीआरपीएफ जवानों और कांग्रेस कार्यकर्ताओं के बीच हल्का विवाद भी हुआ।
ईडी की छापेमारी कहां-कहां हुई?
ईडी की टीम ने राज्यभर में 15 ठिकानों पर छापे मारे, जिनमें पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के बेटे चैतन्य बघेल के आवास सहित कई प्रमुख स्थान शामिल हैं।
इन जगहों पर छापा पड़ा:
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भूपेश बघेल का भिलाई स्थित निवास
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चैतन्य बघेल (पूर्व मुख्यमंत्री के बेटे) का ठिकाना
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बिल्डर मनोज राजपूत का निवास और दफ्तर
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भिलाई के व्यापारी संदीप सिंह का निवास
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सहेली ज्वेलर्स, भिलाई
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होटल कैमलिन, दुर्ग
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दो राइस मिलर्स
शराब घोटाले से जुड़ा मामला
ईडी ने पहले कहा था कि छत्तीसगढ़ में शराब घोटाले के कारण राज्य सरकार को भारी वित्तीय नुकसान हुआ। जांच एजेंसी के मुताबिक, 2100 करोड़ रुपये से अधिक की अवैध कमाई शराब सिंडिकेट से जुड़े लोगों की जेब में गई। इस मामले में कई सरकारी अधिकारियों और व्यापारियों को पहले ही गिरफ्तार किया जा चुका है।
राजनीतिक माहौल गर्माया, कांग्रेस का आरोप
ईडी की इस कार्रवाई के बाद राजनीतिक हलचल तेज हो गई है। कांग्रेस ने इसे राजनीतिक प्रतिशोध करार दिया और आरोप लगाया कि भाजपा सरकार केंद्रीय एजेंसियों का गलत इस्तेमाल कर रही है।
टी एस सिंह देव भी पहुंचे विरोध जताने
ईडी की छापेमारी की खबर सुनकर छत्तीसगढ़ के पूर्व उपमुख्यमंत्री टी एस सिंह देव भी भिलाई पहुंचे। उन्होंने इस कार्रवाई को गलत और राजनीति से प्रेरित बताया।
धरने पर बैठे कांग्रेसी, ढोल-नगाड़ों के साथ प्रदर्शन
ईडी की छापेमारी के विरोध में कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने भूपेश बघेल के निवास के बाहर ढोल-नगाड़े बजाकर प्रदर्शन किया। वहीं, कुछ समय के लिए मीडिया को कवरेज से रोका गया, जिससे विवाद और बढ़ गया।
भाजपा का पलटवार
भाजपा ने कांग्रेस के आरोपों को सिरे से खारिज करते हुए कहा कि ईडी स्वतंत्र रूप से काम कर रही है। भाजपा प्रवक्ता ने कहा कि अगर किसी ने भ्रष्टाचार किया है, तो जांच एजेंसियां अपना काम कर रही हैं और इसमें राजनीति नहीं है।
क्या होगा आगे?
छत्तीसगढ़ में इस छापेमारी के बाद राजनीतिक सरगर्मी बढ़ गई है। आने वाले दिनों में कांग्रेस और भाजपा के बीच यह विवाद और गहरा सकता है। इस मामले में ईडी की अगली कार्रवाई और जांच के नतीजे महत्वपूर्ण होंगे।
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