नेशनल हाईवे-30 पर बना चिचाड़ी पुल इन दिनों हादसों को आमंत्रण दे रहा है। पुल में लगा एक्सपेंशन ज्वाइंट टूट चुका है, जो पुल की संरचनात्मक सुरक्षा के लिहाज से एक गंभीर मामला है। यह ज्वाइंट पुल को कंपन से बचाने और सड़क की सतह को स्थिर बनाए रखने के लिए लगाया जाता है, लेकिन अब इसके टूटने से हर गुजरने वाला वाहन खतरे से दो-चार हो रहा है।
स्थानीय पुलिस थाना क्षेत्र फरसगांव के अंतर्गत आने वाले इस पुल से रोजाना हजारों की संख्या में बड़े और छोटे वाहन गुजरते हैं। टूटे हुए ज्वाइंट से जहां भारी वाहनों को झटका लग रहा है, वहीं दोपहिया वाहन चालकों और कारों के लिए यह जानलेवा जाल बन गया है। ज्वाइंट से निकला लोहे का हिस्सा कभी भी किसी वाहन के निचले हिस्से में फंसकर बड़ा हादसा कर सकता है।
रात में अंधेरे से बढ़ रहा खतरा
सबसे अधिक खतरा रात के समय होता है, जब सड़क पर अंधेरा छा जाता है और टूटा हुआ ज्वाइंट दिखाई नहीं देता। ऐसे में दोपहिया वाहन चालकों के चक्के इसमें फंस सकते हैं, जिससे दुर्घटनाएं होना तय है। स्थानीय लोगों ने बताया कि कई बार वाहन वहां अचानक रुक जाते हैं, जिससे पीछे से आ रही गाड़ियों के टकराने का खतरा बना रहता है।
यातायात अव्यवस्था और जाम की स्थिति
पुल की हालत खराब होने के कारण ट्रैफिक व्यवस्था भी प्रभावित हो रही है। आगे निकलने की होड़ में कई बार वाहन चालकों के बीच टकराव की स्थिति बन जाती है, जिससे सड़क पर जाम लग जाता है। इससे न केवल लोग समय गंवा रहे हैं, बल्कि यात्रियों को मानसिक और शारीरिक रूप से भी परेशानी हो रही है।
एक्सपेंशन ज्वाइंट क्यों है जरूरी?
विशेषज्ञों के अनुसार, पुलों में एक्सपेंशन ज्वाइंट इसलिए लगाए जाते हैं ताकि गर्मी-सर्दी के मौसम में पुल में होने वाले संकोचन और विस्तार को सम्हाला जा सके। यह ज्वाइंट पुल के वाइब्रेशन को भी संतुलित करते हैं और बीयरिंग पर धूल-कचरा न जाने देने में मदद करते हैं। ज्वाइंट टूटने का मतलब है कि पुल की सुरक्षा कमजोर हो गई है, और समय रहते इसकी मरम्मत नहीं हुई तो पुल को स्थायी क्षति भी हो सकती है।
प्रशासन की चुप्पी और लापरवाही
इस पूरे मामले में अब तक किसी जिम्मेदार अधिकारी की ओर से कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया है। ना ही चेतावनी बोर्ड लगाए गए हैं और ना ही वैकल्पिक मार्ग की व्यवस्था की गई है। यह प्रशासनिक लापरवाही भविष्य में किसी बड़े हादसे की पटकथा लिख सकती है।
स्थानीय जनता की मांग
स्थानीय निवासियों और वाहन चालकों की मांग है कि जल्द से जल्द इस पुल की मरम्मत की जाए और टूटे हुए ज्वाइंट को बदला जाए। साथ ही, जब तक मरम्मत का कार्य पूरा न हो, तब तक मार्ग पर चेतावनी संकेतक और वैकल्पिक यातायात व्यवस्था की जाए ताकि दुर्घटनाएं रोकी जा सकें।