रायपुर, 07 अगस्त 2025
जशपुर जिले के पत्थलगांव विकासखंड अंतर्गत शासकीय प्राथमिक शाला तेन्दूपारा में पदस्थ सहायक शिक्षक (एल.बी.) श्री संजय नायक को उच्च अधिकारियों के आदेशों की अवहेलना और स्वेच्छाचारिता बरतने के गंभीर आरोप में तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया गया है।
यह कार्रवाई छत्तीसगढ़ सिविल सेवा (आचरण) नियम, 1965 के नियम-03 के उल्लंघन और कदाचरण की श्रेणी में पाए जाने पर, छत्तीसगढ़ सिविल सेवा (वर्गीकरण, नियंत्रण तथा अपील) नियम, 1966 के नियम-09 के तहत की गई है।
क्या है मामला?
जिला शिक्षा अधिकारी, जशपुर द्वारा जारी आदेश के अनुसार:
-
4 जून 2025 को शासकीय प्राथमिक शाला तेन्दूपारा संकुल लुड़ेग में श्रीमती शालेन कुजूर की नियमित पदस्थापना की गई थी।
-
आदेश के बावजूद, सहायक शिक्षक श्री संजय नायक ने उन्हें विद्यालय में कार्यभार ग्रहण नहीं कराया।
-
इस विषय में 11 जून 2025 को विकासखंड शिक्षा अधिकारी, पत्थलगांव द्वारा श्री नायक को कारण बताओ नोटिस जारी किया गया।
-
शिक्षक द्वारा न तो समय पर जवाब प्रस्तुत किया गया, और न ही कोई संतोषजनक स्पष्टीकरण प्रदान किया गया।
-
बाद में 10 जुलाई 2025 को प्रस्तुत प्रतिवेदन से यह स्पष्ट हुआ कि उन्होंने जानबूझकर आदेशों की अनदेखी की और प्रशासनिक कार्यों में बाधा उत्पन्न की।
⚖️ सेवा नियमों का उल्लंघन सिद्ध
जांच एवं प्रतिवेदन के आधार पर पाया गया कि श्री संजय नायक का आचरण राज्य शासन के सेवा आचरण नियमों के पूर्णतः विरुद्ध है। इसे अनुशासनहीनता और प्रशासनिक अवज्ञा के रूप में चिह्नित किया गया।
निलंबन आदेश और प्रभाव
-
श्री संजय नायक को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया गया है।
-
निलंबन अवधि में उनका मुख्यालय – विकासखंड शिक्षा अधिकारी कार्यालय, बगीचा नियत किया गया है।
-
वे नियमानुसार जीवन निर्वाह भत्ते के पात्र होंगे।
प्रशासन का सख्त संदेश
इस कार्रवाई के माध्यम से जिला शिक्षा विभाग ने स्पष्ट कर दिया है कि शासकीय आदेशों की अवहेलना और स्वेच्छाचारी रवैये को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। विभाग ने सभी अधिकारियों और कर्मचारियों से अपने कर्तव्यों के प्रति उत्तरदायी, अनुशासित और सहयोगात्मक दृष्टिकोण अपनाने की अपेक्षा जताई है।