टी-20 और वनडे में उपकप्तानी के बाद टेस्ट टीम की कमान पहले ही संभाल चुके
भारत की क्रिकेट दुनिया में अब सबसे बड़ा सवाल यही है कि क्या शुभमन गिल अगले कुछ सालों में तीनों फॉर्मेट के कप्तान बन जाएंगे? मंगलवार को जब बीसीसीआई ने एशिया कप 2025 के लिए टी-20 टीम का ऐलान किया तो सभी अटकलें गलत साबित हुईं। गिल को न सिर्फ टीम में जगह दी गई, बल्कि उन्हें उपकप्तान भी घोषित कर दिया गया।
यह फैसला इसलिए खास है क्योंकि टेस्ट टीम की कप्तानी पहले ही उनके हाथ में है और वनडे में वे रोहित शर्मा के डिप्टी बने हुए हैं। यानी साफ है कि बीसीसीआई गिल को विराट कोहली की तरह ही ग्रूम कर रही है।
टी-20 में कप्तानी का अनुभव
2024 टी-20 वर्ल्ड कप जीतने के बाद जिम्बाब्वे दौरे पर शुभमन को पहली बार कप्तान बनाया गया। इसके बाद श्रीलंका सीरीज में सूर्यकुमार यादव को कप्तानी और गिल को उपकप्तानी दी गई। शेड्यूल की व्यस्तता की वजह से कुछ सीरीज में वे बाहर रहे, लेकिन इस बार एशिया कप में उन्हें फिर लीडरशिप रोल मिल गया।
टेस्ट टीम की कमान पहले ही मिल चुकी
मई 2025 में रोहित शर्मा और विराट कोहली के संन्यास के बाद गिल को टेस्ट कप्तान बनाया गया। इंग्लैंड के खिलाफ अपनी पहली सीरीज में ही उन्होंने टीम को दो मुकाबलों में जीत दिलाई और सीरीज 2-2 से ड्रॉ कराई। बल्ले से भी उन्होंने 750 रन ठोककर साबित किया कि वे केवल लीडर ही नहीं, बल्कि बड़े रन बनाने वाले बल्लेबाज भी हैं।
वनडे कप्तानी का भविष्य
चैंपियंस ट्रॉफी में उपकप्तान बनाकर पहले ही संकेत मिल चुका है कि रोहित के बाद वनडे टीम की कमान गिल को ही मिलेगी। कुछ रिपोर्ट्स तो दावा करती हैं कि ऑस्ट्रेलिया सीरीज से ही वे कप्तान बन सकते हैं। हालांकि कई एक्सपर्ट्स मानते हैं कि 2027 वर्ल्ड कप तक रोहित ही कप्तान बने रहेंगे और उसके बाद गिल को पूरी जिम्मेदारी दी जाएगी।
टी-20 कप्तानी 2026 के बाद?
फिलहाल सूर्यकुमार यादव 2026 टी-20 वर्ल्ड कप तक कप्तान रहेंगे। लेकिन टूर्नामेंट के बाद अगर भारत को सफलता नहीं मिली तो गिल को कमान सौंप दी जा सकती है। शुभमन के पास गुजरात टाइटंस की कप्तानी का भी अनुभव है, जहाँ उन्होंने टीम को लगातार दो सीजन प्लेऑफ तक पहुंचाया।
विराट कोहली जैसा ग्रूमिंग प्लान
2012-13 में जिस तरह विराट कोहली को धोनी का डिप्टी बनाकर हर फॉर्मेट में धीरे-धीरे कप्तान तैयार किया गया था, ठीक वैसा ही रास्ता गिल के लिए भी दिख रहा है। विराट ने 25 साल की उम्र में टेस्ट कप्तानी संभाली थी और गिल ने भी लगभग उसी उम्र में यह जिम्मेदारी ले ली। अगले 2-3 साल में अगर सब कुछ प्लान के मुताबिक हुआ तो गिल तीनों फॉर्मेट के फुलटाइम कप्तान होंगे।
निष्कर्ष
शुभमन गिल का करियर अभी शुरुआती दौर में है, लेकिन बीसीसीआई ने साफ कर दिया है कि वे भविष्य के “ऑल-फॉर्मेट लीडर” होंगे। अगर उनकी फिटनेस और फॉर्म बरकरार रही तो 2035 तक भी वे भारत के कप्तान बने रह सकते हैं। लेकिन, जैसा कि क्रिकेट में होता है – सब कुछ टीम के प्रदर्शन पर निर्भर करेगा।
यानी गिल के सामने विराट कोहली जैसी ही राह है। फर्क सिर्फ इतना होगा कि उन्हें इससे भी पहले तीनों फॉर्मेट की कप्तानी सौंप दी जाएगी।