गणेश कंज्यूमर का IPO: 1936 की दुकान से बनी 850 करोड़ की कंपनी, अब बिहार-नॉर्थ ईस्ट पर फोकस

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कोलकाता से निकली ‘गणेश’ ब्रांड की कहानी आज IPO तक पहुँच चुकी है। 1936 में बुर्रा बाज़ार की छोटी सी दुकान से शुरू हुआ ये सफ़र अब 850 करोड़ के कारोबार में बदल चुका है। कंपनी ने 22 सितंबर को अपना IPO खोला, जो पहले ही दिन 12% सब्सक्राइब हो गया। रिटेल निवेशक 24 सितंबर तक इस इश्यू में पैसा लगा सकते हैं।

IPO की डिटेल्स

  • प्राइस बैंड: ₹306 – ₹322

  • 1 लॉट = 46 शेयर

  • न्यूनतम निवेश: ₹14,812

  • अधिकतम आवेदन: 13 लॉट


बंगाल में नंबर वन, अब बिहार पर नज़र

कंपनी के MD मनीष मिमानी कहते हैं –

  • “पूर्वी भारत में आटा-गेहूं बेस्ड प्रोडक्ट्स में हमारा मार्केट शेयर 12.6% है। चना बेस्ड प्रोडक्ट में हम दूसरे नंबर पर और खासकर बंगाल में पहले नंबर पर हैं।”

  • कंपनी की सालाना कमाई FY25 में 850 करोड़ रही।

  • सबसे बड़ा बिज़नेस पश्चिम बंगाल से आता है, जबकि झारखंड और ओडिशा से 8% योगदान।

  • अब अगला बड़ा टारगेट बिहार और नॉर्थ ईस्ट है।


मैन्युफैक्चरिंग स्ट्रेंथ

  • 4 यूनिट्स कोलकाता के पास

  • 2 यूनिट्स यूपी में (बनारस और आगरा)

  • आगरा यूनिट में अभी सूजी बनती है, अक्टूबर से आटा भी बनेगा।

  • इससे बिहार और नॉर्थ ईस्ट को आसानी से सप्लाई मिलेगी और ट्रांसपोर्ट कॉस्ट भी बचेगा।

  • बचत से कंपनी एडवर्टाइजिंग में बड़ा निवेश करेगी।


मार्केट में प्रतिस्पर्धा

  • सबसे बड़ा प्लेयर: आशीर्वाद (31% मार्केट शेयर)

  • वैल्यू-एडेड प्रोडक्ट्स (सूजी, मैदा, सत्तू, बेसन) में गणेश वेस्ट बंगाल का मार्केट लीडर।


सप्लाई चेन का गेम प्लान

  • 85% प्रोडक्ट्स सीधे किराना स्टोर्स पर बिकते हैं।

  • छोटे ऑर्डर्स (1-2 टन) को CNF एजेंट्स के जरिए 24 घंटे में डिलीवर कर दिया जाता है।

  • कोलकाता और आसपास 15 दिन में, जबकि पूरे ईस्टर्न इंडिया में एक महीने के भीतर सप्लाई।


प्रोडक्ट पोर्टफोलियो

गणेश’ ब्रांड सिर्फ आटा तक सीमित नहीं है।

  • आटा, मैदा, सूजी, बेसन, सत्तू

  • बेकरी मैदा, तंदूरी आटा, रुमाली आटा

  • मल्टीग्रेन और स्वीट सत्तू

  • मसाले (हल्दी, मिर्च, धनिया)

  • स्नैक्स (भुजिया, चना चुर)
    पिछले 3 साल में कंपनी ने 11 नए प्रोडक्ट और 94 नए SKU लॉन्च किए हैं।


IPO क्यों ज़रूरी?

जब कंपनी को कारोबार बढ़ाने के लिए फंड चाहिए होता है तो वो बैंक से कर्ज़ लेने के बजाय पब्लिक से पैसा जुटाती है। यही प्रक्रिया IPO (Initial Public Offering) कहलाती है। गणेश कंज्यूमर भी इसी रास्ते से पब्लिक इन्वेस्टमेंट जुटाकर अपने बिज़नेस को नई ऊँचाई देना चाहती है।


की-प्वाइंट्स हाइलाइट

  • बंगाल में चना सत्तू और चना प्रोडक्ट्स में नंबर वन

  • FY25 रेवेन्यू: ₹850 करोड़

  • मार्केट शेयर: वीट प्रोडक्ट्स में 12.6%

  • IPO प्राइस बैंड: ₹306–322

  • टारगेट मार्केट: बिहार और नॉर्थ ईस्ट

  • फोकस: लो कॉस्ट मैन्युफैक्चरिंग + ब्रांडिंग + सप्लाई चेन


यह IPO निवेशकों के लिए सिर्फ एक मौका नहीं, बल्कि एक पारिवारिक बिज़नेस के पब्लिक कंपनी बनने की कहानी भी है।

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