तमिलनाडु के करूर में 27 सितंबर को हुई चुनावी रैली में भगदड़ के बाद अब तक तीन लोगों को गिरफ्तार किया गया है। पहली गिरफ्तारी TVK के जिला सचिव वीपी माथिय्यालगन की हुई। दूसरी गिरफ्तारी पदाधिकारी पौनराज की है, जिस पर भगदड़ केस के मुख्य आरोपी माथिय्यालगन को शरण देने का आरोप है। तीसरी गिरफ्तारी मंगलवार को यूट्यूबर और पत्रकार फेलिक्स गेराल्ड की हुई, जिन पर अफवाहें फैलाने का आरोप है।
पुलिस ने माथिय्यालगन, राज्य महासचिव बसी आनंद और उप महासचिव निर्मल कुमार के खिलाफ FIR दर्ज की है। FIR में एक्टर विजय पर आरोप लगाया गया है कि वे जानबूझकर रैली में देर से पहुंचे, ताकि भीड़ अधिक हो और बिना अनुमति रोड शो किया।
इस भगदड़ में 41 लोगों की मौत हो गई और 51 घायल ICU में भर्ती हैं। पुलिस ने विजय के करीबियों पर केस दर्ज किया है, जबकि विजय के खिलाफ कोई केस अभी तक दर्ज नहीं हुआ। उनके तीन करीबियों पर भारतीय न्याय संहिता (BNS) की धारा 105, 110, 125 और 223 तथा तमिलनाडु सार्वजनिक संपत्ति अधिनियम 1992 की धारा 3 के तहत मामला दर्ज किया गया है।
राज्य सरकार ने रिटायर्ड हाईकोर्ट जस्टिस अरुणा जगदीशन की अध्यक्षता में कमेटी बनाकर जांच शुरू कर दी है। CM स्टालिन ने कहा कि जांच रिपोर्ट मिलने के बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी और सार्वजनिक आयोजनों के लिए नए नियम लागू किए जाएंगे।
सुरक्षा को लेकर खबरें भी आई हैं कि विजय के नीलांकरई स्थित घर को बम से उड़ाने की धमकी मिली। पुलिस ने सुरक्षा बढ़ाई और बम स्क्वॉड ने तलाशी ली, लेकिन अब तक विस्फोटक नहीं मिला। TVK ने आरोप लगाया कि घटना DMK के कुछ नेताओं की साजिश थी और SIT या CBI से जांच की मांग की है।
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