शहीद आकाश राव गिरपुंजे को मिलेगा ‘छत्तीसगढ़ शौर्य पदक’: स्थापना दिवस पर 13 अन्य पुलिसकर्मी भी होंगे सम्मानित

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रायपुर।
छत्तीसगढ़ सरकार राज्य स्थापना दिवस (5 नवंबर) के अवसर पर ‘छत्तीसगढ़ शौर्य पदक वर्ष-2025’ प्रदान करने जा रही है।
यह सम्मान उन पुलिसकर्मियों को दिया जाएगा जिन्होंने कर्तव्य पालन के दौरान असाधारण साहस, वीरता और बलिदान का परिचय दिया है।

राज्योत्सव के अवसर पर आयोजित अलंकरण समारोह में इस वर्ष कुल 14 पुलिसकर्मियों का चयन किया गया है।
इनमें सबसे ऊपर नाम है शहीद अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक (एएसपी) आकाश राव गिरपुंजे (सुकमा) का, जिन्होंने नक्सल मोर्चे पर अदम्य साहस दिखाया था।


राज्य स्थापना दिवस पर होगा सम्मान समारोह

राज्य सरकार द्वारा आयोजित यह अलंकरण समारोह 5 नवंबर को रायपुर के राज्योत्सव स्थल पर आयोजित होगा।
इस अवसर पर मुख्यमंत्री और वरिष्ठ अधिकारी वीरता पुरस्कार प्राप्त पुलिसकर्मियों या उनके परिजनों को ‘छत्तीसगढ़ शौर्य पदक’ प्रदान करेंगे।

यह सम्मान राज्य पुलिस बल के उन सदस्यों के प्रति कृतज्ञता का प्रतीक है जिन्होंने कर्तव्य के दौरान अपने जीवन की परवाह किए बिना प्रदेश की सुरक्षा में योगदान दिया।


शहीद आकाश राव गिरपुंजे — वीरता और बलिदान का प्रतीक

सूची में सबसे पहला नाम शहीद श्री आकाश राव गिरपुंजे, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक, सुकमा का है।
वे लंबे समय से नक्सल प्रभावित इलाकों में सक्रिय थे और अपने साहस, नेतृत्व और कर्तव्यनिष्ठा के लिए जाने जाते थे।
उनकी शहादत ने न केवल सुकमा बल्कि पूरे राज्य को गौरवान्वित किया।


‍♂️ ‘छत्तीसगढ़ शौर्य पदक’ पाने वाले 14 पुलिसकर्मियों की सूची

1️⃣ शहीद श्री आकाश राव गिरपुंजे, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक — सुकमा
2️⃣ निरीक्षक धरम सिंह तुलावीबीजापुर
3️⃣ सहायक उप निरीक्षक गोपाल बोड्डूबीजापुर
4️⃣ शहीद प्रधान आरक्षक (308) बीरेन्द्र कुमार शोरीनारायणपुर
5️⃣ महिला आरक्षक (1257) निशा कचलाम, बस्तर फाइटर्स — नारायणपुर
6️⃣ आरक्षक (1556) विजय पुनेमबीजापुर
7️⃣ आरक्षक (295) रामेश्वर ओयामीदंतेवाड़ा
8️⃣ आरक्षक (1286) राजू लाल मरकाम, बस्तर फाइटर्स — दंतेवाड़ा
9️⃣ आरक्षक (1396) समलू राम सेठिया, बस्तर फाइटर्स — दंतेवाड़ा
10️⃣ आरक्षक (1224) दुला राम कोवासी, बस्तर फाइटर्स — दंतेवाड़ा
11️⃣ आरक्षक (224) मोहन लाल करटमदंतेवाड़ा
12️⃣ आरक्षक (1316) संतोष मुरामी, बस्तर फाइटर्स — दंतेवाड़ा
13️⃣ आरक्षक (1380) मनोज यादव, बस्तर फाइटर्स — दंतेवाड़ा
14️⃣ आरक्षक (1232) जामू रामको, बस्तर फाइटर्स — दंतेवाड़ा


राज्य पुलिस की वीरता को मिली पहचान

इस सूची में सबसे अधिक नाम दंतेवाड़ा, बीजापुर और नारायणपुर जिलों से हैं —
जो प्रदेश के सबसे अधिक नक्सल प्रभावित क्षेत्र माने जाते हैं।

यह अपने आप में इस बात का प्रमाण है कि बस्तर संभाग के पुलिस जवान लगातार कठिन परिस्थितियों में डटे हुए हैं और राज्य की शांति स्थापना में अग्रणी भूमिका निभा रहे हैं।


सरकार का संदेश — ‘बलिदान व्यर्थ नहीं जाएगा’

राज्य सरकार ने कहा है कि “छत्तीसगढ़ शौर्य पदक” केवल एक सम्मान नहीं बल्कि उन परिवारों के प्रति श्रद्धांजलि है जिन्होंने अपने प्रियजनों को देश और समाज की सेवा में खोया है।

यह सम्मान आने वाली पीढ़ियों को प्रेरित करेगा कि कर्तव्य, साहस और देशभक्ति सर्वोच्च मूल्य हैं।


निष्कर्ष: साहस की कहानी, शौर्य का सम्मान

छत्तीसगढ़ की भूमि वीरों की भूमि रही है, और इस बार का ‘छत्तीसगढ़ शौर्य पदक’ उस परंपरा को एक बार फिर जीवित कर रहा है।
शहीद आकाश राव गिरपुंजे और उनके साथ सम्मानित 13 पुलिसकर्मियों की यह सूची इस बात की याद दिलाती है कि
राज्य की शांति और सुरक्षा के पीछे असीम बलिदान और वीरता की कहानियां छिपी हैं।

5 नवंबर का यह राज्योत्सव — सिर्फ उत्सव नहीं, बल्कि शौर्य, समर्पण और कृतज्ञता का दिन होगा।

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