सरकार ने कंपनियों को 22 सितंबर से पुराने बचे हुए माल (अनसोल्ड स्टॉक) पर नई कीमतें लगाने की अनुमति दे दी है। अब मैन्युफैक्चरर्स, पैकर्स और इम्पोर्टर्स स्टॉक पर नई MRP स्टिकर, प्रिंटिंग या ऑनलाइन तरीके से लगा सकेंगे। यह नियम 31 दिसंबर 2025 तक या पुराने स्टॉक के खत्म होने तक लागू रहेगा।
GST काउंसिल ने 3 सितंबर को कई उत्पादों पर टैक्स रेट कम करने का ऐलान किया था। पुराने स्टॉक की MRP बदलने की अनुमति मिलने के बाद ग्राहकों को चॉकलेट, बिस्किट, कॉफी, शैंपू और टूथपेस्ट जैसी चीजें कम कीमत पर मिल सकेंगी।
GST स्लैब में बदलाव
GST में अब केवल दो स्लैब रहेंगे – 5% और 18%। इससे रोज़मर्रा की जरूरी चीजें, जैसे साबुन, शैंपू, AC और कारें भी सस्ती होंगी। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बताया कि दूध, रोटी, पराठा, छेना और कुछ फूड आइटम GST-फ्री होंगे। व्यक्तिगत स्वास्थ्य और जीवन बीमा पर भी टैक्स हट जाएगा। वहीं 33 जरूरी दवाइयां और गंभीर बीमारियों की दवाएं भी टैक्स-फ्री होंगी।
लग्ज़री और तंबाकू उत्पाद
लग्ज़री आइटम्स और तंबाकू प्रोडक्ट्स पर अब 28% की जगह 40% GST लगेगा। मध्यम और बड़ी कारें, 350cc से अधिक इंजन वाली मोटरसाइकिलें इसी स्लैब में आएंगी।
होटल और सेवाओं पर असर
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7500 रुपए तक प्रति दिन किराए वाले होटल कमरों पर GST 12% से घटाकर 5% कर दिया गया।
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जिम, सैलून, योग सेंटर जैसी आम सेवाओं पर GST 18% से घटाकर 5% हो गया।
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कैसिनो, रेस क्लब और IPL टिकट जैसे एंटरटेनमेंट पर GST 28% से बढ़ाकर 40% किया गया।
आम आदमी को फायदा
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रोज़मर्रा की जरूरतें, फूड आइटम्स और छोटी कारें सस्ती होंगी।
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स्वास्थ्य बीमा पर 18% टैक्स हटने से इसे लेना सस्ता और आसान होगा।
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सीमेंट, टीवी, AC और ऑटो पार्ट्स भी सस्ते हो जाएंगे।
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33 जरूरी दवाइयां टैक्स-फ्री होंगी।
उदाहरण: हेयर ऑयल की कीमत में फर्क
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पहले: 100 रुपए + 18% GST = 118 रुपए
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अब: 100 रुपए + 5% GST = 105 रुपए
फायदा: 13 रुपए कम