देश में सरकारी और सार्वजनिक खरीद के लिए GeM (Government e-Marketplace) पोर्टल की शुरुआत की गई थी। इस पोर्टल के इस्तेमाल में छत्तीसगढ़ सबसे आगे है। आंकड़ों के अनुसार, राज्य ने ₹87,873 करोड़ के ऑर्डर GeM के माध्यम से जारी किए, जिनमें MSES का योगदान ₹48,575 करोड़ और महिला उद्यमियों का ₹1,242 करोड़ रहा।
सतर्कता जागरूकता सप्ताह के तहत ‘GeM की सुनें, सतर्क रहें, ज़िम्मेदार बनें’ अभियान शुरू किया गया। इस अवसर पर GeM के सीईओ मिहिर कुमार ने दिल्ली में प्रेस कॉन्फ्रेंस में छत्तीसगढ़ की सराहना की।
अभियान का उद्देश्य
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पारदर्शिता और नैतिक आचरण: खरीदारों और विक्रेताओं को सुरक्षित, पारदर्शी और जिम्मेदार तरीके से ऑर्डर करने के लिए प्रेरित करना।
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छोटे और टियर-2/3 उद्यमों को प्रोत्साहित करना: MSES, स्टार्टअप और महिला उद्यमियों को GeM प्लेटफॉर्म पर भागीदारी का मौका देना।
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सुरक्षा उपाय: रेड-फ्लैग अलर्ट, संरचित बोली शर्तें और ऑडिट ट्रेल के जरिए हर लेन-देन को सुरक्षित और विश्वसनीय बनाना।
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क्षेत्रीय जागरूकता: अभियान की शुरुआत मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ से हुई, स्थानीय भाषाओं में संपर्क किया जा रहा है।
GeM के लाभ और पहल
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#VocalForLocal आउटलेट्स और क्यूरेटेड मार्केट पेज SHGs, कारीगरों, बुनकरों और FPOs के लिए।
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97% ऑर्डर पर ट्रांजैक्शन शुल्क समाप्त और नए विक्रेताओं के लिए सावधि धनराशि हटाई गई।
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छोटे व्यवसायों और महिला उद्यमियों को सीधे खरीदारों से जोड़ना।
आंकड़े: छत्तीसगढ़ और मध्य प्रदेश
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छत्तीसगढ़: कुल ऑर्डर ₹87,873 करोड़; MSES का योगदान ₹48,575 करोड़; महिला उद्यमियों का ₹1,242 करोड़।
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मध्य प्रदेश: कुल ऑर्डर ₹38,027 करोड़; MSES का योगदान ₹26,937 करोड़; महिला उद्यमियों का ₹3,197 करोड़।
GeM का यह पहल सार्वजनिक खरीद में पारदर्शिता, समावेशन और विश्वास सुनिश्चित करती है और दूर-दराज़ के उद्यमियों को आत्मविश्वास के साथ भागीदारी का अवसर देती है।