अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने टेलीविजन पर राष्ट्र के नाम अपने ताज़ा संबोधन में एक बार फिर अपनी नीतियों और फैसलों का खुलकर बचाव किया। घटती लोकप्रियता और आर्थिक चुनौतियों के बीच ट्रंप ने अपनी उपलब्धियों को गिनाते हुए दावा किया कि उनके कार्यकाल में दुनिया भर में कई बड़े टकराव रोके गए और अमेरिका की खोई हुई वैश्विक ताकत को दोबारा स्थापित किया गया। उन्होंने कहा कि महज कुछ महीनों के भीतर उन्होंने ऐसे फैसले लिए, जिनसे अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अमेरिका की स्थिति मजबूत हुई।
अपने संबोधन में ट्रंप ने जोर देकर कहा कि उन्होंने अमेरिकी शक्ति को फिर से खड़ा किया है। उनके मुताबिक, सीमित समय के भीतर कई युद्धों को रोका गया, ईरान से जुड़े परमाणु खतरे को समाप्त किया गया और गाजा में जारी संघर्ष को खत्म कराने में अमेरिका की निर्णायक भूमिका रही। ट्रंप ने यह भी दावा किया कि इन कदमों की वजह से मध्य पूर्व में सदियों बाद शांति का माहौल बना और बंधकों की रिहाई संभव हो सकी, चाहे वे जीवित हों या मृत। उनके शब्दों में, यह अमेरिकी नेतृत्व की ताकत और प्रभाव का सीधा प्रमाण है।
इस दौरान ट्रंप ने अमेरिकी सेना को लेकर एक अहम घोषणा भी की। उन्होंने कहा कि देश के करीब पंद्रह लाख सैन्य कर्मियों को क्रिसमस से पहले एक विशेष “योद्धा लाभांश” दिया जाएगा। अमेरिका की स्थापना के वर्ष 1776 की याद में हर सैनिक को 1,776 डॉलर दिए जाने की बात कहते हुए ट्रंप ने सेना के प्रति अपने समर्थन और सम्मान को दोहराया। उन्होंने इसे उन जवानों के बलिदान का सम्मान बताया, जो देश की सुरक्षा में दिन-रात लगे रहते हैं।
हालांकि संबोधन में ट्रंप का रुख अप्रवासियों के मुद्दे पर बेहद सख्त नजर आया। उन्होंने आरोप लगाया कि अवैध अप्रवासी अमेरिकियों की नौकरियां छीन रहे हैं और कहा कि उनकी सरकार इस समस्या से निपटने के लिए कड़े कदम उठा रही है। ट्रंप के बयान से साफ संकेत मिला कि आव्रजन नीति आने वाले समय में भी उनके एजेंडे का अहम हिस्सा बनी रहेगी।
विदेश नीति के मोर्चे पर ट्रंप ने वेनेजुएला पर लगाए गए तेल प्रतिबंधों और वहां फंसी अमेरिकी सैन्य संपत्तियों के मुद्दे पर ज्यादा विस्तार से बात नहीं की। हालांकि उनके उप चीफ ऑफ स्टाफ स्टीफन मिलर ने संकेत दिया कि लैटिन अमेरिकी देश से जुड़ा पेट्रोल वाशिंगटन के हितों से जुड़ा हुआ है। ट्रंप ने कैरिबियन और प्रशांत महासागर में संदिग्ध नावों के खिलाफ चल रहे सैन्य अभियानों का भी जिक्र किया और दावा किया कि अमेरिका ने खतरनाक विदेशी ड्रग कार्टेल नेटवर्क को खत्म कर दिया है।
इसी बीच अमेरिकी हाउस ऑफ रिप्रेजेंटेटिव्स ने लैटिन अमेरिका में सैन्य गतिविधियों पर कांग्रेस के नियंत्रण को मजबूत करने वाले एक प्रस्ताव को खारिज कर दिया। ट्रंप ने इस मौके पर डेमोक्रेटिक सांसद जिम मैकगवर्न पर निशाना साधा और उन रिपब्लिकन सदस्यों तथा कुछ डेमोक्रेट्स की आलोचना की, जिन्होंने इस बिल को गिराने में उनका साथ दिया। उन्होंने ऐसे नेताओं को “रीढ़विहीन” बताते हुए तीखा हमला बोला।
आर्थिक मुद्दों पर बात करते हुए ट्रंप ने भरोसा जताया कि अमेरिका एक बड़े आर्थिक उछाल की दहलीज पर खड़ा है। उन्होंने संकेत दिया कि जल्द ही फेडरल रिजर्व के नए अध्यक्ष की नियुक्ति की जाएगी और ऐसा व्यक्ति चुना जाएगा, जो ब्याज दरों में भारी कटौती के पक्ष में हो। ट्रंप के अनुसार, आने वाला समय अमेरिका के लिए ऐसा आर्थिक विस्तार लेकर आएगा, जैसा दुनिया ने पहले कभी नहीं देखा।
महंगाई को लेकर ट्रंप ने दावा किया कि उनकी सरकार ने रोजमर्रा की चीजों की कीमतों को काबू में किया है। उन्होंने डेमोक्रेटिक नेताओं पर महंगाई बढ़ाने का आरोप लगाया, लेकिन साथ ही कहा कि मौजूदा प्रशासन इस चुनौती से निपट रहा है। ट्रंप के मुताबिक, पिछले साल की तुलना में थैंक्सगिविंग टर्की की कीमतों में बड़ी गिरावट आई है और अंडों के दाम भी काफी नीचे आए हैं। अपने संबोधन के जरिए ट्रंप ने साफ संदेश देने की कोशिश की कि अमेरिका सही दिशा में आगे बढ़ रहा है और उनकी नीतियां देश को एक बार फिर शिखर पर ले जाने का दम रखती हैं।